मेंहनत और लगन से सबकुछ हासिल किया जा सकता हैं – आशीष शुक्ला
कोई भी मनुष्य पैसें से धनवान नही होता –उसके विचार उसे धनवान बनाते हैं ।
जो पढ़ते नही और जो पढ़ सकते नही- इन दोनो में कोई अंतर नही हैं
बैठे रहने से कुछ हासिल नही होता कर्म ही सबसे बड़ी पूजा हैं
स्त्री , पैसा, वा लोभ नरक के कारण हैं – काम कोध मत लोभ यह चारो नरक के रास्ते हैं
जिस घर मे शातिं नही हैं वहा ल्क्षमी का ठहरना नामुकिंन हैं ---
दुख से पहले अगर हम प्रभु का ध्यान कर ले तो दुख आयेगा ही नही
वक्त की जंजीर में रहना सीखो – वरना वक्त तुमें रहना सिखा देगा
समय का पालन ना करने सिर्फ कठोर रस्ते मिलेंगे – समय का पालन करना सीखो
इक बार समय निकलने के बाद वापस नही आता – इस लिए समय का सही उपयोग करना सीखो
अगर किसी मनुष्य को अपना भविष्य पहले से ज्ञात हो जाएगा तो उसका विनास निश्चित हैं
तीन चीज घर में बहुत परख कर रखनी चाहिए स्त्री . बहु और धन ........
धन सिर्फ सारीरिक सुख दे सकता हैं ---- मन को शांत रखने के लिए पभु का सुमिरन करना होता हैं
मौत एक कड़वा सत्य हैं कोई भी पाणी इससे नही बच सकता
मनुष्य के विचार ही उसे सर्वश्रेष्ठ बनाते हैं –
कोई भी प्राणी धनवान अपने वचारो से होता हैं –उसके विचार उसे धनवान बनाते हैं
किसी चीज को खोना आसान हैं परन्तु पाना कठिन
प्रेंम का ऐसा धागा हैं जो टूटने से फिर नही जुड़ता और अगर जुड़ता हैं तो गाठ पड़ जाती हैं
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